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नव आचार्य श्री समय सागर जी को करें भावंजली अर्पित ×
अंतरराष्ट्रीय मूकमाटी प्रश्न प्रतियोगिता 1 से 5 जून 2024 ×
मेरे गुरुवर... आचार्य श्री विद्यासागर जी महाराज

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पैर उठते - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ६४

पैर उठते, सीधे मोती के भी पै, उल्टे पड़ते। हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से हम अपना जीव

कमल खिले - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ६३

कमल खिले, दिन के ग्रहण में, करबद्ध हों।   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से हम अपन

गूँगा गुड़ का - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ६२

गूँगा गुड़ का, स्वाद क्या नहीं लेता ? वक्ता क्यों बनो ?   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके

मोक्षमार्ग तो - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ६१‍

मोक्षमार्ग तो, भीतर अधिक है, बाहर कम।   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से हम अपना

राष्ट्रपति श्री रामनाथ कोविंद आचार्यश्री के दर्शनार्थ आज रामटेक पहुँचे

भारत भूमि के प्रखर तपस्वी, चिंतक, कठोर साधक, लेखक, राष्ट्रसंत, दिगम्बर जैनाचार्य श्री विद्यासागरजी महाराज की दीक्षा के ५० वर्ष जून २०१८ में पूरे होने हैं । इसे 'संयम स्वर्ण महोत्सव' के रूप में देशभर में मनाया जा रहा है। इस उपलक्ष्य में साल भर अनेक कार्यक्रम पूरे भारतवर्ष के विभिन्न नगरों एवं ज़िलों में हो रहे हैं। इन दिनों चातुर्मास हेतु  आचार्य श्री जी रामटेक, नागपुर में विराजमान हैं और प्रतिदिन हज़ारों की संख्या में देश और विदेशों से भक्तगण उनका आशीर्वाद प्राप्त करने पहुँच रहे है,  भारत के राष्ट

नौ मास उल्टा - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ६०

नौ मास उल्टा, लटका आज तप (रहा पेट में) कष्टकर क्यों?   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके मा

भरा घट भी - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ५९

भरा घट भी, खाली सा जल में सो, हवा से बचों।   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से हम

कब पता न - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ५८

कब पता न, मरण निश्चित है, फिर डर क्यों ?   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से हम अप

मलाई कहाँ - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ५७

मलाई कहाँ, अशान्त दूध में सो, प्रशान्त बनो।     हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं।

सुनना हो तो - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हाइकू ५६

हाइकू ५६ – सुनना हो तो, नगाड़े के साथ में, बाँसुरी सुनो।   सुनना हो तो, नगाड़े के साथ में, बाँसुरी सुनो। हाइकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है। आप इस हाइकू का अर्थ नीचे कमेंट में लिख सकते हैं | आप नीचे लिखें अर्थ को लाईक कर सकते हैं | आप इसको शेयर कर सकते हैं |

मिट्टी तो खोदो - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ५५

मिट्टी तो खोदो, पानी को खोजो नहीं, पानी फूटेगा।   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम स

देखा ध्यान में - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ५४

देखा ध्यान में, कोलाहल मन का, नींद ले रहा।   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से हम

रोगी की नहीं - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ५३

रोगी की नहीं, रोग की चिकित्सा हो, अन्यथा भोगो।   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से

टिमटिमाते - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ५२

टिमटिमाते, दीप को भी पीठ दे, भागती रात ।   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से हम अप

वैधानिक तो - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ५१‍

वैधानिक तो, पहले बनो फिर, धनिक बनो।   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से हम अपना जी

President Kovind to visit Jain temple in Ramtek during his Nagpur tour

President of India Ramnath Kovind, who will be visiting Nagpur on September 22 for various programmes, will also visit Jain pilgrimage place in Ramtek. The President will visit Shantinath Jain Mandir on the occasion of ongoing Chaurmas and seek blessings of Acharya Vidyasagar Maharaj who is camping at the temple since the past few months. The district administration and top police officials reviewed the arrangements for the VVIP visit. Superintendent of Police Shailesh Balkawde said that th

महामहिम राष्ट्रपति श्री रामनाथ कोविंद आचार्यश्री के दर्शनार्थ आज रामटेक पहुंचेंगे

नागपुर। महाराष्ट्र के प्रसिद्ध जैन तीर्थ क्षेत्र रामटेक में चातुर्मास कर रहे संत शिरोमणि आचार्य गुरुदेव श्री विद्यासागरजी महाराज का आशीर्वाद लेने भारत के महामहिम राष्ट्रपति श्री रामनाथ कोविंद आज  22 सितंबर को पहुंच रहे हैं। उनके आगमन को लेकर जोरदार तैयारियां चल रही हैं। प्राप्त जानकारी के अनुसार, राष्ट्रपति सुबह 9:45 बजे नागपुर एयरपोर्ट पर वायुसेना के विशेष विमान से पहुंचेंगे। वहां से हेलीकॉप्टर द्वारा जैन तीर्थ क्षेत्र के पीछे बन रहे हेलीपैड पर महामहिम उतरेंगे। लगभग सुबह 11:20 पर राष

जितना चाहो - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ५०

जितना चाहो, जो चाहो जब चाहो, क्यों कभी मिला।   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से ह

निजी प्रकाश - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ४९

निजी प्रकाश, किसी प्रकाशन में, कभी दिखा है ?   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से ह

नीर नहीं तो - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ४८

नीर नहीं तो, समीर सही प्यास, कुछ तो बुझे।   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से हम अ

गुरू ने मुझे - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ४७

गुरू ने मुझे, प्रकट कर दिया, दीया दे दिया।   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से हम

ज्ञानी कहता - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ४६

ज्ञानी कहता, जब बोलूँ अपना, स्वाद छूटता।   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से हम अप

भूख लगी है - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ४५

भूख लगी है, स्वाद लेना छोड़ दें, भर लें पेट।   हायकू जापानी छंद की कविता है इसमें पहली पंक्ति में 5 अक्षर, दूसरी पंक्ति में 7 अक्षर, तीसरी पंक्ति में 5 अक्षर है। यह संक्षेप में सार गर्भित बहु अर्थ को प्रकट करने वाली है।   आओ करे हायकू स्वाध्याय आप इस हायकू का अर्थ लिख सकते हैं। आप इसका अर्थ उदाहरण से भी समझा सकते हैं। आप इस हायकू का चित्र बना सकते हैं। लिखिए हमे आपके विचार क्या इस हायकू में आपके अनुभव झलकते हैं। इसके माध्यम से ह
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