संयम स्वर्ण महोत्सव Posted December 8, 2017 Report Share Posted December 8, 2017 आंगनमें कुलीन शुद्ध देशी गाय। उत्तम नंदी से गोसंवर्धन। गाय के दूध-घी-छाछ आधारित आहार। गाय के गोबर, गोमूत्र, बैल आधारित कृषि। जल सम्पन्न गाँव। गो माता का वर्णसंकरण न करें। आवारा एवं मिश्र वर्णसंकरण जाति के सांढो से मुक्त गाँव। गाय के दूध-घी की शुद्धता, सही गोधर्म हर एक गाँव में गोरक्षा केन्द्र। गोचर रक्षा। गाय आधारित उद्योग। नई पीढ़ी को गोवंश, गोपालन, गोसंवर्धन शिक्षा। अकाल मे उत्तम देशी गोवंश की रक्षा करे। गोपालन का स्वावलम्बन। इन १४ सिद्धांतों से ही हम भारत के देशी गोवंश की आबादी और पुन:स्थापन कर सकेंगे। एक शोध में यह पाया कि जहरीला पदार्थ खाने पर गाय के दूध में कोई फर्क नहीं पडता हैं क्योंकि गाय का मांस उस जहरीले पदार्थ को सोख लेता हैं जबकि भैंस कोई जहरीली वस्तु खा जाए तो उसे भैंस का मांस सोख नहीं पाता है इसलिए दूध में उसका असर रह जाता हैं। 2 Link to comment Share on other sites More sharing options...
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