अजित वाणी
जितना बड़ा प्लोट” होता है उतना बड़ा “बंगला” नहीं होता, जितना बड़ा “बंगला” होता है उतना बड़ा “दरवाजा” नहीं होता, जितना बड़ा “दरवाजा” होता है उतना बड़ा “ताला” नहीं होता, जितना बड़ा “ताला” होता है उतनी बड़ी “चाबी” नहीं होती, परन्तु “चाबी” का पूरे बंगले पर अधिकार होता है इसी तरह मानव के जीवन में बंधन और मुक्ति का आधार सूक्ष्म मन की चाबी पर ही निर्भर होता है
प्रवचनांश(मुनिश्री अजितसागर जी)
परम पूज्य संत शिरोमणि दिगम्बर सरोवर के राजहंस आचार्य श्री १०८ विद्यासागर जी महाराज के 50वें स्वर्णिम संयमोत्सव वर्ष के पावन उपलक्ष्य में,गुरुदेव के परम प्रभावक आज्ञानुवर्ती शिष्य परम पूज्य प्रशममूर्ति,मुनिश्री १०८ अजितसागर जी महाराज श्रद्देय ऐलक श्री १०५ दयासागर महाराज जी श्रद्देय ऐलक श्री १०५ विवेकानंदसागर जी महाराज ससंघ 03 पिच्छी का पावन ग्रीष्म प्रवास भाग्योदय तीर्थ खुरई रोड,सागर(म.प्र.) मे चल रहा है,
विशेष - रोजाना प्रात:काल - 8:15 बजे से विशेष आचार्यश्री जी की महापूजन। प्रात:काल - 8:30 बजे से आचार्यश्री जी की कृति- तोता क्यों रोता पर मुनिश्रीजी के विशेष उध्बोधन स्वरूप प्रवचन होते है। पूज्य मुनिश्री ससंघ के पावन पुनीत प्रेरणा एवं सानिध्य में प्रथम बार मध्यप्रदेश की धार्मिक नगरी, अनेकों महाराज जी/माताजी ,विद्वानों की जन्म स्थली, ( सागर ) में आगामी दिनाँक 04 जून से 11 जून 2018 तक, "स्वर्णिम संयमोत्सव सम्यग्ज्ञान विद्या शिक्षण शिविर " का आयोजन सम्पन होने जा रहा है।
जिसमे प्रतिदिन प्रात:काल ,पूजन,अभिषेक, मुनिद्वय मुनिराज जी /ऐलकद्वय जी द्वारा, विशेष(क्लास), प्रवचन स्वरूप अनूठा, आयोजन सम्पन होने जा रहा हैं। जिसमे सभी वर्गों को धार्मिक संस्कारो की प्रयोगशाला में पुज्य मुनिद्वय मुनिराज, ऐलकद्वय द्वारा अध्ययन कराया जायेगा स्थान~ भाग्योदय तीर्थ नवीन धर्मशाला परिसर खुरई रोड,सागर(म.प्र.) इस शुभ अवसर पर आप सभी सादर आमंत्रित हैं।