Jump to content
नव आचार्य श्री समय सागर जी को करें भावंजली अर्पित ×
अंतरराष्ट्रीय मूकमाटी प्रश्न प्रतियोगिता 1 से 5 जून 2024 ×
मेरे गुरुवर... आचार्य श्री विद्यासागर जी महाराज
  • entries
    193
  • comments
    162
  • views
    93,978

Contributors to this blog

सद्भावना सम्मेलन के साथ खजुराहो मे हुआ, हथकरघा का भोर


Vidyasagar.Guru

577 views

खजुराहो, संत शिरोमणि आचार्य श्री 108 विद्या सागर जी महाराज के मंगल सानिध्य मे प्रथम हथकरघा सद्भावना सम्मेलन संपन्न ।प्रथम सत्र मे  प्रातः कालीन पूजन सद्भावना परिवार द्वारा किया गया है। दूसरे सत्र मे आये हुए अतिथियों के उद्धबोधन हुए। साथ ही गुरुदेव के मंगल प्रवचन हुए ।

 

 विवेक के स्तर से जब इंसान नीचे उतरता हें, तो वासना उसे शैतान वना देती हैं! आज विश्व के कई देश विष्फोटक सामग़ी के कारण एक दूसरे को डराने में लगे हैं! लेकिन भारत ही एक ऐसा देश हैं जो किसी से डरता नहीं उन्होंने कहा कि यंहा पर सिंह और गाय एक घाट पर पानी पीते हें विश्व के अनेक देश आश्चर्य करते हैं! उन्होंने कहा कि जंहा पर दया का वास होता है, वंहा पर सभी जीव अच्छा ही सोचते हैं! उन्होंने कहा कि कभी भी कोई जीव अपने आप प्रहार नहीं करता उन्होंने कहा कि जब तक मानव दिल और दिमाग का दुरुपयोग न करे तो यह विष्फोटक सामग़ी कोई कितनी भी वना ले उससे कोई भी नुकसान नहीं हो सकता! उसी प्रकार यदि कोई अपराधी है और यदि वह प्रायश्चित कर लेता हैं तो उसको न्यायाधीश भी उस क्रूर व्यक्ती को भी डंड देते समय क्रूरता का उपयोग न करे! उन्होंने कहा कि मनुष्य एक ऐसा प्राणी हैं कि वह सभी को अपने वश में करना चाहता हैं! उन्होंने हंसते हुये कहा वस मुझे छोड़कर आप लोगों ने सभी को वशीकरण किया हैं! उन्होंने कहा कि "आमदनी कम और खर्चा ज्यादा लक्षण है मिट जानेका,  कूवत कम और गुस्सा ज्यादा लक्षण हैं पिट जाने का उन्होंने कहा कि जैलर स़ा. ने कहा कि कैदीयों के लिये हस्तकर्धा से श्री गणेश किया हैं उनकी जिंदगी को सुधारने का तो उसके जबाब में आचार्य श्री ने कहा कि आपने अपनी प्रतिभा का और वुद्दी का और शक्ती का सही सदुपयोग किया हैं। उन्होंने भारत के इतिहास की ओर ले जाते हुये कहा कि भारत के वस्त्रों में गुणवत्ता थी इंग्लैण्ड की महारानी विक्टोरिया के वस्त्राभूषण भारत से जाते थे। लेकिन सुनते हें कि भारत में ऐसे रईस थे कि वह अपने वस्त्र विदेश से वुलवाते थे । अंत मे आचार्य श्री ने कहा यह अभी एक क्रांति है। अब सब लोग प्रण लो आगे से सब हथकरघा के ही वस्त्र पेनहेंगे ।

 

राष्ट्रीय स्तरीय हथकरघा फेंसी ड्रेस प्रतियोगिता एवं केंद्रीय जैल सागर के कैदियों द्वारा भव्य नाटिका गुरु कृपा कछु दुर्लभ नाही का मंचन किया गया ।अंत मे प्रज्ञाचक्षु कलाकारों द्वारा भव्य भजन संध्या हुई । 

इस मंगल अवसर पर मुख्य अतिथि श्री के.सी जैन, मुम्बई,  श्री विनय कुमार जैन लखनऊ(आई. जी, जेल),डॉ नीलेश दत्तात्रेय, महा निदेशक भारतीय कपड़ा  सहायक एवं उपकरण , श्री यू. टी पवार, जेल अधीक्षक पुणे रहे। मंच संचालन डॉ रेखा जैन (पूर्व डी. एस. पी, सागर) ने किया ।यह कार्यक्रम सद्भावना परिवार, केंद्रीय जेल सागर एवं सक्रिय सम्यकदर्शन सहकार संघ के तत्वाधान मे हुआ ।

 

 

 

0 Comments


Recommended Comments

There are no comments to display.

Create an account or sign in to comment

You need to be a member in order to leave a comment

Create an account

Sign up for a new account in our community. It's easy!

Register a new account

Sign in

Already have an account? Sign in here.

Sign In Now
  • बने सदस्य वेबसाइट के

    इस वेबसाइट के निशुल्क सदस्य आप गूगल, फेसबुक से लॉग इन कर बन सकते हैं 

    आचार्य श्री विद्यासागर मोबाइल एप्प डाउनलोड करें |

    डाउनलोड करने ले लिए यह लिंक खोले https://vidyasagar.guru/app/ 

     

     

×
×
  • Create New...