इस कथन में थोड़ा अपवाद करते हैं-
अवीचारं द्वितीयम् ॥४२॥
अर्थ - किन्तु दूसरा शुक्लध्यान वीचार रहित है। अर्थात् पहला शुक्लध्यान तो वितर्क और वीचार दोनों से सहित है। किन्तु दूसरा शुक्लध्यान वितर्क से सहित है, पर वीचार से रहित है।
English - The second type is free from shifting.