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मेरे गुरुवर... आचार्य श्री विद्यासागर जी महाराज

भारतीय संस्कृति है सम्मान करने की


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घाटोल 14/11/2023

 

*भारतीय संस्कृति है सम्मान करने की*

 

*प्रभु का रथ सभी के घरों के आगे से निकलना चाहिए*

 

*पंचकल्याणक महोत्सव अच्छे से संपन्न करना है पूरे भारत से लोग आएंगे* 

 

श्री वासुपूज्य दिगंबर जैन मंदिर घाटोल जिला बांसवाड़ा राजस्थान मे परम पूज्य सर्वश्रेष्ठ साधक

आचार्य श्री विद्यासागर जी महाराज के शिष्य 

मुनि श्री भाव सागर जी महाराज ने धर्म सभा को संबोधित करते हुए कहा कि भारतीय संस्कृति है सम्मान करने की इसलिए कोई अच्छा कार्य करता है तो सम्मान करना चाहिए ,वासुपूज्य भगवान जब नवीन वेदी पर विराजमान होंगे पूरी दुनिया के लोग दर्शन करने आएंगे, आचार्य श्री विद्यासागर जी महाराज की साधना के कारण पूरी दुनिया में प्रसिद्धि हुई है,पंचकल्याणक महोत्सव अच्छे से संपन्न करना है पूरे भारत से लोग आएंगे और आप सभी को व्यवस्था करना है, यह कार्य किसी एक व्यक्ति का नहीं है सभी को मिलकर के करना है, प्रभु का रथ सभी के घरों के आगे से निकलना चाहिए जिससे बीमार , वृद्ध लोगों को प्रभु के दर्शन हो सके , मांगलिक कार्यों में वस्त्र नए पहनते हैं लेकिन कुछ लोग प्रतिदिन पूजन आदि के कार्यों में कटे फटे वस्त्र पहनते हैं यह अमंगल का प्रतीक है, भगवान के लिए परोपकार गौशाला आदि के लिए जो दान दिया जाता है उसका उपयोग उन्हीं कार्यों में करना चाहिए ,जो दान बोलकर राशि नहीं देते हैं उनको बहुत सी बीमारियां, परेशानियां आती है

Edited by SAUMYA UKAWAT
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