Report पीठ से मैत्री - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ४३५ In आचार्य श्री विद्यासागर जी द्वारा हायकू छन्द और आपकी समझ A group blog by टीम विद्यासागर डॉट गुरु in General Posted May 28, 2018 जब व्रत में पेट पीठ से लग जाता है मतलब मैत्री हो जाती है तब यह जीभ भूख लगने की बजह से दुखी रहती है।
पीठ से मैत्री - आचार्य विद्यासागर जी द्वारा रचित हायकू ४३५
In आचार्य श्री विद्यासागर जी द्वारा हायकू छन्द और आपकी समझ
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जब व्रत में पेट पीठ से लग जाता है मतलब मैत्री हो जाती है तब यह जीभ भूख लगने की बजह से दुखी रहती है।