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वतन की उड़ान: इतिहास से सीखेंगे, भविष्य संवारेंगे - ओपन बुक प्रतियोगिता ×
मेरे गुरुवर... आचार्य श्री विद्यासागर जी महाराज

आचार्यश्री के मुखारविंद से सुनें णमोकार मन्त्र


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भारत भूमि के प्रखर तपस्वी, चिंतक, कठोर साधक एवं लेखक - विश्व-वंदनीय जैन संत आचार्य श्री 108 विद्यासागर जी महाराज को सादर प्रणाम।

 

 

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