बिन तेरे गुरुवर मेरा हर गीत अधूरा लगता है,
बिन तेरे जीवन का हर संगीत अधूरा लगता है।
सम्यक पथ पर चलने का ऽऽऽ-2 संकल्प अधूरा लगता है।
बिन तेरे.....................
हम अबोध शिशु थे, गुरु तुमने, पथ पर चलना सिखाया
सत्य अहिंसा और संयम का तुमने ही पथ दिखलाया
बिन वाती बिन ज्योति के-2 हर दीप अधूरा लगता है।
बिन तेरे.....................
भक्ति के सुरताल मधुर, झंकार तुम्ही से है गुरुवर
मन वीणा के तारों की टंकार, तुम्ही से है गुरुवर ।
शब्दों के लालित्य स्वरों में जान तुम्ही से है गुरुवर
सच पूछों स्वर शब्दों में पहचान तुम्ही से है गुरुवर
बिन फूलों बिन कलियों के-2 हर बाग अधूरा लगता है।
बिन तेरे.....................
तेरे पावन दरस से महका मन का हर इक कोना है।
मेरे गुरुवर इस धरती पर बिना खोट का सोना है।
बिन चंदा बिन तारों के-2 आकाश अधूरा लगता है।
बिन तेरे.....................