सीए क्षितिज जैन, भिलाई Posted July 1, 2018 Report Share Posted July 1, 2018 *विद्योदय* जिसने भी देखा, बस देखते ही रह गया।?????????? *वर्तमान में महावीर और भविष्य के सिद्ध* आचार्य श्रेष्ठ, संत शिरोमणि 108 श्री विद्यासागर जी महाराज की जीवन झलकियां जो की आज *विद्योदय* के रूप में समग्र भारत वर्ष में दिखाई गई वास्तव में यह चित्रण नही ये दर्शन है।?????????? ऐसा लगा मानो साक्षात आचार्य श्री के सम्मुख बैठकर उनके दर्शन कर रहे हो। शरीर का कोई सा भी रोम बाकी नही रहा जो पुलकित ना उठा हो ऐसा सजीव चित्रण इस *विद्योदय* में मिला। ???????????????????? कई कई बार तो ऐसा लगा कि हम सचमुच में उस समय मे चले गए है जब आचार्य श्री का जन्म हुआ, शिक्षा हुई, वैराग्य हुआ और दीक्षा हुई। जीवन के प्रत्येक पहलू को इतनी सजीवता से प्रदर्शित किया गया कि मानो हम सभी सचमुच में भौतिक रूप में उन क्षणों में उपस्थित रहे हों।?????????? किसी और का तो पता नही परंतु सच मे उनकी इस विशाल जीवनी और उनके जीवन के ऐसे छोटे बड़े वृत्तांत जोकि अभी तक अज्ञात थे को इस रूप में देखकर कई बार अनायास ही आंखों से आंसू अपना स्थान छोड़कर बाहर निकल गए थे ऐसा भावनात्मक जुड़ाव सा था इस *विद्योदय* में। ☑☑☑☑☑☑☑☑☑☑ *मूकमाटी* के काव्य पदों को साकार रूप देती, उत्कृष्ट मुनि चर्या के साक्षात रूप को दर्शाती, आचार्य श्री की गौरव गाथा गाती, ऐसी है *विद्योदय* जैन धर्म की महिमा बतलाती, अहिंसा का मर्म सिखाती, गुरुओं के प्रति समर्पण बढ़ाती, ऐसी है *विद्योदय* जीवन का दर्पण दिखलाती, मुनि पद की गौरव गरिमा गाती, आचार्य श्री के जीवन दर्शन करवाती, ऐसी है *विद्योदय* ♦♦♦♦♦♦♦♦♦♦ इसे इस रूप में लाने के लिए, आचार्य श्री को और नजदीक से जानने का अवसर देने वाले इस कृति के सूत्रधार, रचनाकार और इससे जुड़े सभी पात्रो का हृदय के अंतिम कोने तक से धन्यवाद जिनके कारण ये हमे देखने मिल सकी।???????????????????? ये इस युग का सौभाग्य है कि गुरुदेव ने इस युग मे जन्म लिया, और ये हम सभी का परम सौभाग्य है कि हमने गुरु के युग मे जन्म लिया।?????????? जो किसी भी प्रमादवश या अन्य कारणवश नही देख पाए हैं उनके प्रति बस यही है की अगली बार जब भी मौका मिले बिना किसी प्रमाद के जरूर जरूर देखियेगा ।????????? आचार्य श्री के चरणों मे बारंबार नमोस्तु, नमोस्तु, नमोस्तु????????? *सीए क्षितिज जैन* *भिलाई* 30/06/2018 Link to comment Share on other sites More sharing options...
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